डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कोरोना महामारी के चलते देशभर में लागू लॉकडाउन ने अर्थव्यवस्था को जोरदार झटका दिया है। भारत की अप्रैल-जून तिमाही (Q1FY21) में सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में सालाना आधार पर (-)23.9% की ऐतिहासिक गिरावट आई है। 40 साल में पहली बार भारतीय अर्थव्यवस्था में इतनी बड़ी गिरावट देखने को मिली है। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (NSO) ने सोमवार को ये आंकड़े जारी किए। पिछली तिमाहियों में GDP ग्रोथ की बात करें तो Q4FY20 में 3.1%, Q3FY20: 4.7%, Q2FY20: 4.5%, Q1FY20: 5% रही थी।
NSO की ओर से जारी आंकड़े के मुताबिक 2020-21 की पहली तिमाही में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में ग्रॉस वैल्यू एडिशन (GVA) – 39.3 फीसदी रहा। कंस्ट्रक्शन सेक्टर में यह -50.3 फीसदी रहा है। इलेक्ट्रिसिटी में यह -7 फीसदी है। उद्योग में GVA -38.1 फीसदी और सर्विस सेक्टर में -20.6 फीसदी रहा। खनन क्षेत्र में GVA -23.3 फीसदी, ट्रेड एवं होटल में -47 फीसदी, पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन में -10.3 फीसदी और फाइनेंस, रियल एस्टेट में -5.3 फीसदी रहा है। केवल कृषि क्षेत्र की ग्रोथ में 3.4 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
कैसे होती है GDP की गणना?
बता दें कि किसी भी एक साल के भीतर देश में उत्पादित होने वाले सभी सामानों और सेवाओं का कुल मूल्य सकल घरेलू उत्पाद या जीडीपी (GDP) है। जीडीपी की गणना के लिए NSO देश के आठ प्रमुख क्षेत्रों से आंकड़े प्राप्त करता है। इनमें कृषि, रियल एस्टेट, मैन्युफैक्चरिंग, विद्युत, गैस सप्लाई, माइनिंग, वानिकी एवं मत्स्य, क्वैरीइंग, होटल, कंस्ट्रक्शन, ट्रेड और कम्युनिकेशन, फाइनेंसिंग और इंश्योरेंस, बिजनेस सर्विसेज और कम्युनिटी के अलावा सोशल व सार्वजनिक सेवाएं शामिल है।
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Source From
RACHNA SAROVAR
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